छत्तीसगढ़ में बिजली दरों में मामूली बढ़ोतरी: आम उपभोक्ताओं और किसानों को नहीं होगा अतिरिक्त भार

मुख्यमंत्री का स्पष्टीकरण: राहत योजनाएं जारी रहेंगी

छत्तीसगढ़ में बिजली दरों में मामूली बढ़ोतरी की पुष्टि करते हुए मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने आश्वासन दिया कि इससे न तो आम जनता पर भार पड़ेगा और न ही किसानों की बिजली सब्सिडी में कोई कटौती होगी। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की ‘हाफ बिजली योजना’ और किसानों के लिए दी जा रही सब्सिडी पहले की तरह जारी रहेगी।

हाफ बिजली योजना का लाभ पूर्ववत

घरेलू उपभोक्ता पहले की तरह रियायती दरों पर बिजली का उपयोग कर सकेंगे। यह योजना मध्यम और निम्न आय वर्ग के लिए बेहद उपयोगी साबित हो रही है।

किसानों को सब्सिडी का पूरा संरक्षण

कृषि पंपों की दरों में 50 पैसे प्रति यूनिट की बढ़ोतरी जरूर हुई है, लेकिन इसका पूरा खर्च राज्य सरकार वहन करेगी।

बिजली दरों में क्या बदला, क्या बरकरार
घरेलू उपभोक्ताओं की दरों में बदलाव

छत्तीसगढ़ राज्य विद्युत नियामक आयोग ने वर्ष 2025-26 के लिए घरेलू उपभोक्ताओं की दर में मात्र 10 से 20 पैसे प्रति यूनिट की बढ़ोतरी की है, जिसे नगण्य बताया गया है।

कृषि पंपों की दर और सब्सिडी

हालांकि कृषि पंपों की दर बढ़ी है, फिर भी इसका सीधा असर किसानों की जेब पर नहीं पड़ेगा, क्योंकि सरकार पूरी सब्सिडी देगी।

विभिन्न वर्गों को दी गई विशेष रियायतें
आदिवासी क्षेत्रों और मुरमुरा मिलों को राहत
  • वामपंथी उग्रवाद प्रभावित क्षेत्रों में मोबाइल टावरों के लिए 10% छूट।

  • मुरमुरा और पोहा मिलों को दी जाने वाली छूट 5% से बढ़ाकर 10% कर दी गई है।

महिला स्वसहायता समूहों और अस्पतालों को छूट
  • महिला स्व-सहायता समूहों को 10% की छूट बरकरार रखी गई है।

  • ग्रामीण क्षेत्र के अस्पतालों को 5% छूट पहले की तरह जारी रहेगी।

ई-वाहन चार्जिंग और मोबाइल टावरों के लिए नई व्यवस्था
EV चार्जिंग स्टेशनों के टैरिफ
  • निम्न दाब पर ₹7.02/यूनिट और उच्च दाब पर ₹6.32/KVAH की दर निर्धारित की गई है।

नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में मोबाइल टावरों पर छूट

ऊर्जा शुल्क में 10% की छूट दी गई है जिससे इन क्षेत्रों में डिजिटल कनेक्टिविटी मजबूत हो सके।

ऊर्जा लागत बनाम उपभोक्ता दरें
राज्य सरकार की सब्सिडी नीति

राज्य बिजली कंपनी को बिजली की लागत ₹7.02 प्रति यूनिट आती है, जबकि उपभोक्ताओं को यह न्यूनतम ₹4.10 प्रति यूनिट में मिल रही है। यह अंतर दर्शाता है कि राज्य सरकार कितना बड़ा सब्सिडी भार खुद उठा रही है।

वितरण कंपनी का संतुलित दृष्टिकोण

बिजली वितरण कंपनी के एमडी भीमसिंह कंवर ने इस बढ़ोतरी को “संतुलित और आवश्यकता आधारित” बताया है।

मुख्यमंत्री का वक्तव्य और सामाजिक सरोकार
सम्मान समारोह में ऊर्जा नीति की चर्चा

राष्ट्रीय उत्कृष्ट सम्मान समारोह के दौरान मुख्यमंत्री ने विद्युत दरों पर स्पष्टता दी, जिससे उपभोक्ताओं की शंकाओं का समाधान हो सके।

प्रतिभाओं को प्रोत्साहन और सामाजिक प्रेरणा

कार्यक्रम में शिक्षा और चित्रकला के क्षेत्र में अव्वल छात्रों को सम्मानित किया गया, जो समाज को सकारात्मक दिशा में प्रेरित करता है।

छत्तीसगढ़ में बिजली दरों में मामूली बढ़ोतरी से जनता को राहत सुनिश्चित

छत्तीसगढ़ में बिजली दरों में मामूली बढ़ोतरी जरूर की गई है, लेकिन मुख्यमंत्री और बिजली वितरण कंपनी ने यह सुनिश्चित किया है कि आम उपभोक्ता और किसान किसी भी तरह की अतिरिक्त आर्थिक बोझ से सुरक्षित रहें। सरकार की सब्सिडी नीति और सामाजिक संवेदनशीलता इस बदलाव को संतुलित और जनहितैषी बनाती है।

Bharti Sahu
Author: Bharti Sahu