कुरूद। जनपद पंचायत कुरूद में पंचायत सचिवों और रोजगार सहायकों का गुस्सा सातवें आसमान पर है। मुख्य कार्यपालन अधिकारी (सीईओ) अमित कुमार सेन के खिलाफ सचिवों ने खुलकर मोर्चा खोल दिया है। बैठक के दौरान सीईओ के व्यवहार से नाराज होकर सचिव और रोजगार सहायक सभा कक्ष छोड़ बाहर निकल आए और जमकर नारेबाजी करते हुए कलेक्टर के नाम ज्ञापन सौंपा।
दरअसल, 25 अप्रैल को सुबह 11 बजे जनपद पंचायत कुरूद में “सुशासन तिहार” के तहत आवेदन निराकरण की समीक्षा बैठक बुलाई गई थी। बैठक के दौरान किसी बात को लेकर सीईओ अमित कुमार सेन उत्तेजित हो गए। आरोप है कि उन्होंने सचिवों और रोजगार सहायकों के साथ अभद्र व्यवहार किया। इसी के विरोध में सभी सचिव व सहायक बैठक बीच में ही छोड़कर बाहर निकल गए और सीईओ को तत्काल हटाने की मांग करने लगे।
पंचायत सचिव संघ के ब्लॉक अध्यक्ष दिनेश चन्द्राकर ने कहा, “मैंने अपने 30 साल के नौकरी जीवन में कई सीईओ देखे, लेकिन ऐसा व्यवहार पहले कभी नहीं देखा। इस अधिकारी के साथ काम करना संभव नहीं है।”
संघ के संरक्षक प्रकाश चन्द्राकर, सचिव वेदप्रकाश साहू, प्रवक्ता तामेश्वर साहू और रोजगार सहायक संघ के अध्यक्ष छन्नू लाल महिलांगे ने भी एक सुर में कहा कि बैठक के दौरान वे केवल मार्गदर्शन मांग रहे थे, लेकिन सीईओ ने अशोभनीय भाषा का प्रयोग किया, जिससे सभी कर्मचारी आहत हुए हैं।
सचिवों ने चेतावनी दी कि अगर जल्द ही सीईओ को नहीं हटाया गया तो वे काम बंद और कलम बंद हड़ताल करने को मजबूर होंगे।
सीईओ ने दी सफाई:
विवाद के बीच जनपद पंचायत कुरूद के सीईओ अमित सेन ने अपना पक्ष रखते हुए कहा, “बैठक का उद्देश्य सुशासन तिहार में प्राप्त शिकायतों का समय पर निराकरण करना था। मैंने केवल निर्देशित किया कि निराकरण तय समय में हो। किसी भी रोजगार सहायक के साथ दुर्व्यवहार नहीं किया।”
सीईओ ने कहा कि अगर समय पर कार्य नहीं हुआ तो नियम के तहत कार्रवाई भी की जा सकती है।
अब देखना होगा कि पंचायत सचिवों की इस नाराजगी का असर प्रशासन पर कितना पड़ता है और आगे जनपद पंचायत कुरूद में हालात किस ओर करवट लेते हैं।
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